सरकार का राजकोषीय घाटा नवंबर अंत तक पूरे साल के बजट अनुमान का 50.7 फीसदी हो गया है। रुपये में यह 9.06 लाख करोड़ है। शुक्रवार को जारी आंकड़ों के मुताबिक, 2022-23 की समान अवधि में यह 58.9 फीसदी था। सरकार ने 2023-24 के लिए 17.86 लाख करोड़ के राजकोषीय घाटे का अनुमान लगाया है। यह जीडीपी के अनुपात में 5.9 फीसदी होगा।
सरकार का लक्ष्य 2025-26 तक इसे घटाकर 4.5 फीसदी पर लाना है।सरकार को नवंबर तक कुल 17.4 लाख करोड़ का राजस्व मिला है, जो बजट अनुमान का 64.3 फीसदी है। इसमें 14.35 लाख करोड़ रुपये शुद्ध रूप से कर राजस्व है। 2.84 लाख करोड़ रुपये गैर-कर राजस्व है और 25,463 करोड़ रुपये अन्य मदों से है।
17.4 लाख करोड़ रुपये का मिला राजस्व
सरकार को नवंबर तक कुल 17.4 लाख करोड़ का राजस्व मिला है, जो बजट अनुमान का 64.3 फीसदी है। इसमें 14.35 लाख करोड़ रुपये शुद्ध रूप से कर राजस्व है। 2.84 लाख करोड़ रुपये गैर-कर राजस्व है और 25,463 करोड़ रुपये अन्य मदों से है।
58.9%के स्तर पर पहुंचा खर्च
आंकड़ों के मुताबिक, सरकार ने चालू वित्त वर्ष में अप्रैल से नवंबर के बीच कुल 26.52 लाख करोड़ रुपये खर्च किया है। यह 2023-24 के बजट अनुमान का 58.9 फीसदी है। कुल खर्च में से 20.66 लाख करोड़ रुपये राजस्व खातों पर और 5.85 लाख करोड़ रुपये पूंजी खातों पर खर्च हुए हैं।