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महालक्ष्मी का 65 लाख के गहनों से श्रृंगार

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भोपाल. दिवाली पर घर-घर महालक्ष्मी पूजा की जाएगी। शहर के मंदिरों में भी लक्ष्मी पूजा के लिए विशेष तैयारियां हैं। कहीं माता महालक्ष्मी को आकर्षक पोशाक और गहने अर्पित किए जाएंगे तो कहीं नोटों से सहस्त्रार्चन किया जाएगा। मंदिरों में फूलों से साज सज्जा, विशेष श्रृंगार के साथ महाआरती होगी। इस दौरान बड़ी संख्या में श्रद्धालु दर्शन करने के लिए मंदिरों में पहुंचेंगे।

महालक्ष्मी का 65 लाख के गहनों से श्रृंगार
नेहरू नगर करुणाधाम आश्रम स्थित मंदिर में माता महालक्ष्मी को अलग-अलग पोशाक धारण कराई जा रही है। मंदिर में माता रानी को 65 लाख रुपए के आभूषण धारण कराए गए हैं। शनिवार को यहां महारानी पैटर्न में श्रृंगार किया गया। रविवार को बेहरीन से आई विशेष जरी की पोशाक धारण कराई जाएगी। मंदिर के पट सुबह से मध्यरात्रि तक खुले रहेंगे। इस दौरान यहां दिन में भंडारे का आयोजन भी किया जाएगा।

1008 नोटों से होगा सहस्त्रार्चन
शहर के मां वैष्णोधाम आदर्श नवदुर्गा मंदिर परिसर के लक्ष्मीनारायण मंदिर में आकर्षक साज सज्जा की गई है। दिवाली की रात्रि में 10:30 बजे यहां विशेष पूजन होगा। इस मौके पर 21 किलो पारे के श्रीयंत्र का 1008 नोटो से सहस्त्रार्चन किया जाएगा। तकरीबन 8 लाख रुपए के नोट यहां अर्पित किए जाएंगे। मंदिर के पं. चंद्रशेखर तिवारी ने बताया कि हर वर्ष व्यापारी राशि मंदिर में समर्पित करते हैं और पूजन में रखते हैं। अगले दिन यह राशि वापस लौटा दी जाती है। राशि देते समय बकायदा रसीद काटी जाती है, और रसीद के हिसाब से राशि लौटाई जाती है।

बिड़ला मंदिर में नवीन मुकुट और पोशाक

शहर के लक्ष्मी नारायण बिड़ला मंदिर में भगवान को नवीन पोशाक धारण कराई गई है। यह पोशाक और मुकुट अहमदाबाद से आई है, जो तकरीबन 70 हजार रुपए की है। इसके साथ ही लक्ष्मी नारायण को 64 साल पुरानेेेेे कंगन, हार और आभूषण धारण कराए जाएंगे। मंदिर के प्रबंधक केके पांडे ने बताया कि दिवाली के चलते मंदिर के पट सुबह से दोपहर 12 बजे तक और रात्रि में 10 बजे तक खुले रहेंगे। शाम को शुभ मुहूर्त में पूजा अर्चना, महाआरती होगी।
पुराने शहर के लक्ष्मीनारायण मंदिर में होगा श्रृंगार
पुराने शहर के लखेरापुरा स्थित लक्ष्मीनारायण मंदिर में भी विशेष पूजा अर्चना होगी। यहां बड़ी संख्या में श्रद्धालु दर्शन के लिए पहुंचेंगे। दिवाली पर लक्ष्मीनारायण का आकर्षक श्रृंगार किया जाएगा। यह मंदिर तकरीबन 25 साल पुराना है। यहां भजन, कीर्तन सहित विशेष आयोजन और दीपदान होगा, रात्रि में महाआरती का आयोजन किया जाएगा।

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