Site icon अग्नि आलोक

नगर निगम की भी लापरवाही….सांवेर रोड औद्योगिक क्षेत्र के 2 सेक्टर का पानी 6 साल से ट्रीट ही नहीं कर रहा निगम

Share

इंदौर

सांवेर रोड औद्योगिक क्षेत्र में कान्ह में दूषित पानी मिक्स होने के मामले में नगर निगम की भी लापरवाही सामने आई है। दरअसल, सांवेर रोड के छह सेक्टर के उद्योगों के गंदे पानी के ट्रीटमेंट के लिए नगर निगम ने छह साल पहले 15 करोड़ की लागत से चार एमएलडी क्षमता का कॉमन इंडस्ट्रियल ट्रीटमेंट प्लांट (सीईटीपी) स्थापित किया था। सभी छह सेक्टर में पाइप लाइन डालकर निगम को उद्योगों का गंदा पानी इस प्लांट तक लाकर उसे ट्रीट करना था। निगम ने सिर्फ चार सेक्टर में ही पाइप लाइन डाली, बाकी दो सेक्टर में नहीं डाली।

10 पैसे प्रति लीटर शुल्क लेना था, पर लिया नहीं

फरवरी 2017 और जुलाई 2017 में भी प्रदूषण विभाग के अफसरों के साथ नगर निगम के अफसरों की बैठक में यही तय किया था कि निगम को पानी के ट्रीटमेंट के एवज में शुल्क लेना है। जिन चार सेक्टर के उद्योगों का पानी निगम ट्रीट कर रहा है, उनसे निगम को 10 पैसे प्रति लीटर शुल्क लेना था। हर दिन डेढ़ लाख रुपए शुल्क लेना था। छह साल में निगम ने 32 करोड़ 40 लाख शुल्क वसूला ही नहीं।

जहां लाइन नहीं, वहां टैंकर भेजकर मंगवाना था पानी

जिन दो सेक्टर में निगम पाइप लाइन नहीं डाल पाया, वहां निगम को टैंकर भेजकर उद्योगों से पानी बुलवाना था। निगम ने ऐसा नहीं किया और कुछ उद्योगों ने चोरी छुपे वही पानी कान्ह में छोड़ दिया। वर्तमान में सेक्टर बी, सी, ई और एफ के 600 के करीब उद्योगों का पानी ही पाइपलाइन के जरिए ट्रीटमेंट प्लांट तक पहुंच रहा है। बाकी ए और डी सेक्टर के उद्योगों को अपना पानी स्वयं टैंकर व अन्य माध्यम से ट्रीटमेंट प्लांट में भेजना पड़ रहा है।

शुल्क लेने पर सहमति बनी, तारीख तय नहीं

उद्योगों के साथ 6 जनवरी को बैठक रखी गई। इसमें तय किया गया कि उद्योगों से निकलने वाले प्रदूषित पानी को उपचार करने के एवज में शुल्क लिया जाएगा। उद्योगों ने सहमति भी दी, लेकिन इसे कब से शुरू किया जाना है, वह तय नहीं हो पाया। जल्द ही शुल्क लेना शुरू करेंगे।– आरएस देवड़ा, असिस्टेंट इंजीनियर, नगर निगम

नगर निगम को सौंप चुके हैं उद्योगों की सूची

हमने अपनी तरफ से नगर निगम को उद्योगों की सूची सौंप दी है। निगम को ही उद्योगाें से निकलने वाले दूषित पानी को ट्रीट करना है। इसके एवज में उद्योगों से नगर निगम को शुल्क भी वसूल करना है, जो कि अभी तक नहीं हो पाया।
– संजय जैन, वैज्ञानिक, प्रभारी सांवेर रोड औद्योगिक क्षेत्र

Exit mobile version