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बांग्लादेश और इंडोनेशिया की गेहूं में जोरदार मांग से तेजी का वातावरण

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इंदौर

गेहूं के निर्यात एवं महाराष्ट्र एवं अन्य राज्यों की मैदा मिलों की मांग से भावों में तेजी का वातावरण बनने लगा है। मैदा मिलों एवं खेरची व्यापारियों को खाद्य निगम के गेहूं पर निर्भर रहना पड़ेगा। चल एवं डॉलर चने के भावों में नरमी रही पर चने में बेचवाली का दबाव बना हुआ है।

जानकार क्षेत्रों के अनुसार बांग्लादेश एवं इंडोनेशिया की गेहूं में जोरदार मांग बनी हुई है। कांडला डिलीवरी 2275 रुपए में लेवाल बन गए हैं। बाजार में ऐसी चर्चा है कि यही गेहूं पाकिस्तान जा रहा है। क्योंकि भारत-पाकिस्तान के बीच व्यापारिक संबंध अच्छे नहीं है मध्यप्रदेश से बड़ी मात्रा में गेहूं निर्यात में जा रहा है। दूसरी ओर मिलों को बेहतर क्वालिटी का मैदा बनाने के लिए खाद्य निगम के गेहूं के साथ लोकवन गेहूं की मिलाना जरूरी है। इससे भावों में तेजी बनी हुई है। लोकवन औरंगाबाद 2350 पूना 2400 मुंबई 2270 कोल्हापुर 2370 हैदराबाद 2450 मैसूर 2560 चैन्नई 2500 त्रिचनपल्ली 2570 रुपए के भाव बताए गए।

चने में बेचवाली बढ़ने एवं लेवाली कमजोर रहने से भावों में पुन: गिरावट आ गई। चना ऊपर चलते हुए अटकता है। नैफेड ने 12 नवंबर को मध्यप्रदेश में 2020- चना 5001 महाराष्ट्र में 2018, 4355, 2020-4901 राजस्थान में 2020-5151 से 5213 गुजरात में 2019-4701 मसूर मध्यप्रदेश 2018- 7056 तमिलनाडु में मूंग 2021-7450 रुपए में विक्रय किया।

डॉलर चने में मंदी
डॉलर चने की आवक इंदौर मंडी में 3000 बोरी की रही। नीलामी में बिटकी 4800 से 5800 डंकी 5500 से 8200 मध्यम 8300 से 9000 बोल्ड 9100 से 9250 रुपए। कंटेनरों में डॉलर चना 42X44-9500 रुपए, 44X46-9400 रुपए, 58X60-9200 रुपए। स्टॉक फैक्टरियों ने मक्का की खरीदी भावों में कमी की है। घाटाबिल्लौद 1620 बदनावर 1650 अहमदाबाद 1720 चालीसगांव 1700 हिम्मतनगर 1725 रुपए के भाव बताए गए। इंदौर मंडी में गेहूं की आवक 400 से 500 बोरी की रही।

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