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विपक्षी सांसदों का निलंबन कर मोदी सरकार ने संवैधानिक मर्यादाओं को तार तार कर दिया

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146 सांसदो के निलंबन के विरोध मे संभाग आयुक्त के समक्ष विपक्षी पार्टियो ने प्रदर्शन कर राष्ट्रपति के नाम से ज्ञापन दिया। 

इंदौर ।

सांसदों के निलंबन के विरोध में विपक्षी पार्टियों के आव्हान पर संभाग कमिश्नर कार्यालय इंदौर के समक्ष वामपंथी पार्टिया और कांग्रेस , सोशलिस्ट पार्टी नेअपना विरोध जाहिर करते हुए  राष्ट्रपति  के नाम   से ज्ञापन देकर मांग की कि सभी निलंबित सांसदों को बहाल किया जावे । प्रदर्शन में भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी,मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी , एस यू सी , सोशलिस्ट पार्टी ओर कांग्रेस के कार्यकर्ता शरीक हुए ।

प्रदर्शन कारियों को संबोधित करते हुए विभिन्न वक्ताओं ने कहा कि सभी विपक्षी सांसदों को निलंबित कर मोदी सरकार ने सभी संवैधानिक मर्यादाओं को तार-तार कर दिया है सांसदों को निलंबित कर 18 से ज्यादा विधायक पारित कराए गए हैं जो देश की जनता के लिए घातक होंगे सीआरपीसी सहित सभी विधेयकों का  जनता पर विपरीत असर पड़ेगा और यह आने वाले दिनों में तानाशाही प्रवृत्ति को और अधिक बढ़ाएंगे । वक्ताओं ने मांग की की यदि मोदी सरकार में जरा भी शर्म बाकी हो तो सांसद में कूदने वाले लोगों को पास जारी करने वाले भाजपा सांसद पर निलंबन की कार्रवाई करना चाहिए इसके विपरीत विपक्ष के सभी सांसदों को निलंबित कर दिया गया है जो लोकतंत्र का भी और उसे जनता का भी अपमान है जिन्होंने उन्हें चुनकर भेजा। भक्ताओं ने आवाहन किया कि जिस तरह से मोदी और भाजपा ने सरकार लोकतांत्रिक संस्थाओं का हनन कर रही है उसके चलते अब केवल जनता की अदालत में जाना और जनता को गोल बंद  कर संघर्ष करना ही एकमात्र रास्ता बचा है ।

 जिसमे  कामरेड रुद्रपाल यादव, सोहनलाल शिंदे ,प्रमोद नामदेव, रामस्वरूप मंत्री,दिलीप कौल,  श्याम सुन्दर यादव,भागीरथ कछवाह,छगन चौहान,राहुल निहोरे,सत्यनारायण वर्मा,विजय दलाल,सेयद साजिद अली, कैलाश यादव, मोहम्मद अली सिद्धीकी,शेलेंद्र, नेयर,रमेश झाला  प्रमुख रूप से शामिल थे ।

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