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बेवफाई नहीं, माइक्रोचीटिंग का दंश : पहचानिए संकेत

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   डॉ. श्रेया पाण्डेय 

रिश्तों को मज़बूत बनाए रखने के लिए उनमें विश्वास का होना आवश्यक है। मगर कई बार माइक्रो चीटिंग से हेल्दी रिलेशनशिप में दूरियां बढ़ने लगती है। व्यक्ति अपने पार्टनर को धोखा देने से पीछे नहीं हटता है और इससे रिश्ते में विश्वास खत्म होने लगता है।

    छोटी छोटी बातों को छुपाना और झूठ बोलना ट्रस्ट खत्म कर देता है और इससे विश्वासघात बढ़ने लगता है। 

*क्या है माइक्रो चीटिंग?*

    माइक्रो चीटिंग उसे कहते हैं, जिसमें एक व्यक्ति छोटे छोटे कार्यों से अपने पार्टनर का ट्रस्ट खोने लगता है।

     कई बार अपने पार्टनर को बिना बताए किसी दोस्त से छुपकर मिलना और देर रात तक टैक्स्ट मेसेज करना माइक्रो चीटिंग कहलाता है।

   माइक्रो चीटिंग उस कंडीशन को कहते हैं, जब आप न तो पूरी तरह से पार्टनर को चीट करते हैं और न ही उनसे सभी बातें खुलकर साझा करते हैं।

ये हैं माइक्रो चीटिंग के संकेत :

   *1. फ्लर्ट :*

ऐसा नहीं है एक लड़की होकर लड़कों से दोस्ती नहीं कर सकते हैं। मगर पति की जानकारी के बिना अगर आप फ्लर्टी मैसेज भेज रहे हैं और रिसीव कर रहे हैं, तो ये पूरी तरह से गलत है।

     पार्टनर के अलावा किसी अन्य व्यक्ति से ऐसी इंटरैक्शन माइक्रो चीटिंग का एक संकेत हैं।

   *2. लंबी चैटिंग :*

फोन पर देर तक किसी अन्य व्यक्ति से छुपकर चैटिंग करना और उसे सिक्रेटली अपनी फोटोज़ और मैसेज भेजना चीटिंग की ओर ईशारा करते हैं।

    देर रात तक किसी अन्य के साथ फोन कॉल पर बढ़ने वाली एगेंजमेंट चीटिंग का साइन है।

   *3. इंटिमेंट बॉन्ड बिल्ड :*

कोई ऐसा दोस्त जो आपके करीब आने लगा है और पार्टनर की जानकारी के बिना आप उसके करीब जा रहे हैं, तो उससे रिश्ते को नुकसान पहुंचता है। किसी अन्य के साथ इंटिमेंट बॉन्ड स्थापित करना चीटिंग कहलाता है।

     इसके चलते पार्टनर की ओर रूझान कम होने लगता है, जिससे दोनों के मध्य दरार बढ़ जाती है।

*4. सीक्रेसी मेंटिनेन्स :*

हर व्यक्ति की अपनी पर्सनल जिंदगी है, जिसमें उसे अपने फैसेले लेने को पूरा अधिकार है।

    मगर कई बार व्यक्ति किसी खास से नाम बदलकर बात करने लगता है और कान्टेक्ट में उसका नंबर किसी अन्य नाम से सेव करके रखता है। इससे रिश्ते में झूठ धीरे धीरे बढ़ने लगता है।

माइक्रोचीटिंग में ऐसे डील करें :

    *1. बातचीत है ज़रूरी :*

अगर आप पार्टनर को माइक्रो चीट कर रही हैं, तो उचित समय देखकर अपने पार्टनर से बात करें और कंफैस करना बेहद ज़रूरी है।

    इससे रिश्ते को खराब होने से बचाया जा सकता है। इससे व्यक्ति लंबे वक्त से महसूस हो रहे गिल्ट और असहजता से बच सकता है।

   *2. रिश्ते को मज़बूत बनाना :*

अपने पार्टनर से अपने रिश्ते को इस कदर मज़बूत बना लें कि कोई भी व्यक्ति उसमें न आ सके। दोनों में बढ़ने वाली दूरी के कारण को पहचाने और उस समस्या को दूर करने का प्रयास करें।

    अन्य व्यक्ति के लुक्स और बातें अगर आपकी अपनी ओर आकर्षित कर रही हैं, तो उस समस्या से डील करने का तरीका खोजें और अपने पार्टनर की कवालिटीज़ के बारे में सोचकर एक मज़बूत बॉन्ड शेयर करें।

    *3. ट्रस्ट को रीबिल्ड करना :*

किसी अन्य के साथ एंगेज होना पार्टनर के लिए बेहद परेशानी भरा हो सकता है।

    ऐसे में दोनों इस बात को समझें कि विश्वास को दोबारा कैसे कायम करें। साथ ही एक दूसरे की कमियों पर चर्चा कर उन्हें दूर करने का प्रयास करें।

*4. सीमा निर्धारण :*.

कई बार पार्टनर की हर बात में दखलअंदाज़ी मिसअंडरस्टैण्डिंग का कारण साबित होती हैं। ऐसे में इस बात को तय करें कि कौन सी बातों पर दोनों की मंजूरी आवश्यक है।  

      दरअसल, जब एक व्यक्ति दूसरे पर अपनी इच्छाएं थोपने लगता है, तो साथी खुद को बोझिल महसूस करने लगता है। ऐसे में सीमाएं निधार्रित करना ज़रूरी है।

*माइक्रोचीटिंग से बचने के लिए जरूरी स्टेप्स :*

    अपने पार्टनर से हर बात खुलकर करें। किसी भी बात को छुपाना रिश्ते के लिए हानिकारक हो सकता है।

    अपने गलत व्यवहार और बातों की जिम्मेदारी लेना आवश्यक है।

   हर वक्त फोन पर समय खराब करने की जगह दोनों लोगों का आपस में बातचीत करना ज़रूरी है और क्वालिटी टाइम अवश्य स्पैंण्ड करें।

    रिश्ते में पारदर्शिता का होना आवश्यक है। करीबी दोस्तों से लेकर आउटिंग तक सभी चीजों को अपने पार्टनर से शेयर करना ज़रूरी है। इससे रिलेशनशिप में किसी भी प्रकार के इफ और बट से बचा जा सकता है।

    किसी भी समस्या को शक में बदलने से पहले आपसी समझदारी से सुलझाना ज़रूरी है। रिश्ते में बढ़ने वाली मिसअंडरस्टैण्डिंग को दूर करें।

     प्राइवेसी का गलत फायदा न उठाएं। अगर आपको पार्टनर आपकी निजी जिंदगी में कोई भी दखलअंदाजी नहीं कर रहा है, तो उसके व्यवहार का सम्मान करें।

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