मुनेश त्यागी
निराधार नहीं शोर है
चौकीदार ही चोर है,
देश में भारी शोर है
चौकीदार ही चोर है।
मां, बहुऐं, बहना कहें
अपराधों का शोर है,
सारे किसान मजदूर कहें
चौकीदार ही चोर है।
छात्र कहें, नौजवान कहें
बेरोजगारी घनघोर है,
मिल सारे बेरोजगार कहें
चौकीदार ही चोर है।
दवा नहीं, डॉक्टर नही
जिम्मेदार कोई और है।
खेत कहें, खलिहान कहें
चौकीदार ही चोर है।
मंहगाई बढ़ी, रोजगार नही
भ्रष्टाचार बढ़ा घनघोर है,
बजट की मारी जनता कहे
चौकीदार ही चोर है।
घर में चोरी हो रही
देश में मचा शोर है,
चोर से चौकीदार मिला है
चौकीदार ही चोर है।
खाली पेट, खाली हाथ
भूखी जनता मांगे मोर है,
डोक्यूमेंट्री,हिंडनबर्ग का जोर है
चौकीदार ही चोर है।