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राज कपूर के दादा ने जब फैलाया रायता

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दिलीप कुमार से नाराज हो गए थे वालिद, फिर शोमैन ने लगाई 1 खास जुगत

राज कपूर और दिलीप कुमार काफी अच्छे दोस्त थे और दोनों के परिवार भी एक दूसरे को अच्छे से जानते थे. एक दफा राज कपूर के दादा की वजह से दिलीप कुमार मुसीबत में पड़ गए थे. जानिए पूरा किस्सा…

राज कपूर और दिलीप कुमार ने बड़े पर्दे पर एक दूसरे से कई बार टक्कर ली है. दोनों की ही फिल्में दर्शकों के बीच लोकप्रिय रहती थीं. असल जिंदगी में भी दोनों एक दूसरे के अच्छे दोस्त थे. दोनों ना सिर्फ फिल्मों से जुड़े बल्कि निजी मामलों में भी एक दूसरे से सलाह लिया करते थे. एक दफा राज कपूर के दादा ने दिलीप कुमार के लिए एक परेशानी खड़ी कर दी थी. इसके बाद दिलीप साहब के पिताजी खासे नाराज हो हुए. लेकिन राज कपूर ने एक जुगत लगाकार पूरा मामला सैटल किया था. आइए, बताते हैं।

राज कपूर और दिलीप कुमार की दोस्ती फिल्मी दुनिया से नहीं थी. बल्कि दोनों एक दूसरे को काफी पहले से जानते थे. यहां तक कि दोनों के परिवार भी एक दूसरे को अच्छे से जानते थे. दिलीप कुमार का जन्म 11 दिसम्बर 1922 को और राज कपूर का जन्म 14 दिसम्बर 1924 को हुआ था. दोनों का ही जन्म पेशावर में हुआ था और इनके घर भी कुछ ही दूरी पर थे. राज कपूर के दादा दीवान बशेश्वरनाथ कपूर और दिलीप कुमार के वालिद लाला गुलाम सरवर अली एक दूसरे को बहुत अच्छे से जानते थे।

जब बशेश्वरनाथ ने खोल दिया राज

बशेश्वरनाथ इस बात से खुश थे कि उनके बेटे पृथ्वीराज कपूर और पोता राज कपूर फिल्मी दुनिया का हिस्सा हैं. वहीं, सरवर अली खान नहीं चाहते थे कि युसूफ खान यानी दिलीप कुमार एक्टिंग करें क्योंकि वे इसे नौटंकी मानते थे. एक दफा मुंबई बाजार में बशेश्वरनाथ, सरवर अली खान से मिले और उनसे कहा कि ‘चलो तुम्हें कुछ दिखाना है’. उन्होंने सरवर को एक बड़े से पोस्टर के सामने ले जाकर खड़ा कर दिया. यह पोस्टर फिल्म ‘जुगनू’ का था, जिसमें दिलीप साहब का बड़ा सा फोटो और नीचे ‘युसूफ’ की जगह दिलीप कुमार नाम लिखा था. यह देख सरवर हैरान रह गए।

बशेश्वरनाथ ने उनसे कहा कि देखना यह एक दिन खूब नाम करेगा. हालांकि ‘जुगनू’ दिलीप साहब की पहली मूवी नहीं थी लेकिन इससे पहले तक उनके घरवालों को नहीं पता था कि वे फिल्मी दुनिया का हिस्सा हैं।

राज कपूर ने यूं सुलझाया मामला

दिलीप साहब जब घर पहुंचे तो उन्हें पूरा मामला पता चला. उनके वालिद ने उनसे बात करना बंद कर दिया क्योंकि वे चाहते थे कि युसूफ कोई सरकारी नौकरी करे. बिगड़ी बात को सुलझाने के लिए दिलीप ने राज कपूर से मदद मांगी. राज कपूर ने मामले को समझते हुए अपने पिता पृथ्वीराज कपूर को पूरा मामला शांत करने के लिए कहा. तब पृथ्वीराज कपूर, दिलीप साहब के वालिद से मिले और समझाया कि आपका बेटा बहुत अच्छा काम कर रहा है और उसमें काफी प्रतिभा है. यदि आप उसका उत्साह बढ़ाएंगे तो उसे सरकारी नौकरी से भी ज्यादा शोहरत और मुकाम हासिल होगा। पृथ्वीराज की बातों ने सरवर अली खान के विचारों को बदलने का काम किया और उन्होंने अपने बेटे को माफ कर दिया।

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