डॉ. श्रेया पाण्डेय
बार्ली यानी जौ एक बेहद खास सुपरफूड है। इसके खास पोषक तत्वों के कारण अकसर छोटे और बढ़ते बच्चों को जौ से तैयार व्यंजन खिलाए जाते हैं। पर क्या आप जानते हैं गर्मी और बरसात में जब आप बाजरा जैसे सुपरफूड नहीं खा सकते, तब जौ एक बेहतरीन अनाज साबित होता है।
गर्मी और बरसात के मौसम में वातावरण गर्म और ह्यूमिडिटी से भरा होता है। जिसकी वजह से लोग शरीर में गर्मी और पाचन संबंधी समस्याओं का सामना करने लगते हैं। ऐसी स्थिति में बार्ली यानी जौ का सेवन आपके लिए बेहद फायदेमंद साबित होता है।
*फाइबर और विटामिनों का भंडार है जौ*
जौ एक प्रकार का पौष्टिक अनाज है और जब जौ का पानी बनाने के लिए इसे उबाला जाता है, तो यह कई ज़रूरी विटामिन और मिनरल छोड़ता है। इसमें पर्याप्त मात्रा में फाइबर, बी विटामिन, आयरन, मैग्नीशियम और सेलेनियम का पाए जाते हैं। ये पोषक तत्व समग्र स्वास्थ्य को बनाए रखने और ऊर्जा के स्तर को बढ़ावा देने में मदद करता है।
*1.हाइड्रेट रखता है जौ*
गर्मी के महीनों में हाइड्रेटेड रहना बहुत ज़रूरी है और जौ का पानी इसमें आपकी मदद कर सकता है। यह एक रिफ्रेशिंग ड्रिंक है, जो आपको अंदरूनी तथा बाहरी दोनों ही रूप से हाइड्रेट रखता है और पसीने के ज़रिए खोए ज़रूरी इलेक्ट्रोलाइट्स की भरपाई करता है।
*2.कूलिंग प्रॉपर्टी :*
जौ के पानी में नेचुरल कूलिंग प्रॉपर्टी पाई जाती है, जो इसे गर्मी से बचने के लिए एक बेहतरीन विकल्प बनाती है। यह शरीर की गर्मी को कम करने में मदद करता है, खास तौर पर ये गर्म दिनों में एक आरामदायक और रिफ्रेशिंग एहसास प्रदान करता है।
*4. पाचनतंत्र की मज़बूती*
जौ का पानी अपने बेहतरीन पाचन गुणों के लिए जाना जाता है। इसमें सॉल्युबल फाइबर होते हैं, जो पाचन तंत्र को स्वस्थ बनाए रखने में मदद करते हैं। बार्ली का सेवन कब्ज, सूजन और अपच जैसी समस्याओं से राहत दिलाने में मदद करता है, जो गर्म और ह्यूमीड मौसम में खान-पान में बदलाव के कारण आम है।
*5. वेट मैनेजमेंट :*
अगर आप गर्मियों में अपना वजन बनाए रखना चाहती हैं, या उसे नियंत्रित करना है, तो जौ के पानी को अपने आहार में शामिल करें। जौ के पानी में उच्च मात्रा में फाइबर मौजूद होता है, जो व्यक्ति को लंबे समय तक संतुष्ट रखता है। जिससे कि अनावश्यक रूप से खाने की इच्छा नहीं होती और आप सीमित मात्रा में कैलोरी लेती हैं। यह रक्त शर्करा के स्तर को नियंत्रित करने में भी मदद कर सकता है।
*6.डिटॉक्सिफिकेशन :*
जौ का पानी शरीर के लिए एक प्राकृतिक डिटॉक्सिफायर के रूप में कार्य करता है। यह टॉक्सिक पदार्थों और अपशिष्ट उत्पादों को बाहर निकालने, स्वस्थ किडनी फ़ंक्शन को बढ़ावा देने और मूत्र पथ के संक्रमण के जोखिम को कम करने में मदद करता है। डिटॉक्सिफिकेशन गर्मियों के दौरान विशेष रूप से महत्वपूर्ण है, जब डिहाईड्रेशन और टॉक्सिन बिल्डअप आम होते हैं।
*7. त्वचा रक्षक :*
जौ के पानी में एंटीऑक्सीडेंट होते हैं, जो ऑक्सीडेटिव तनाव से लड़ने में मदद करते हैं और त्वचा को मुक्त कणों से होने वाले नुकसान से बचाते हैं। बार्ली के पानी का नियमित सेवन स्वस्थ और चमकदार रंगत पाने में आपकी मदद कर सकता है, जिससे मुंहासे और दाग-धब्बे जैसी त्वचा संबंधी समस्याएं कम होती हैं।
*डाइट में जौ किस तरह शामिल करें?*
इसे डाइट में शामिल करने का सबसे आसान तरीका है बार्ली वॉटर। भिगोए हुए बार्ली को पानी में डालें और इसमें 10 से 15 मिनट तक उबाल आने दें। फिर मिश्रण को छानकर अलग कर लें, उसमें नमक मिलाएं और इसे पिएं।
ब्रेकफास्ट में ओट्स के साथ बार्ली फ्लैक्स भी ट्राई करें। फाइबर से भरपूर बार्ली आपके पूरे दिन एनर्जेटिक रहने में मदद करेगा।
आप बार्ली को सूप और सब्जी में ऐड कर सकते हैं।
बार्ली के आटे को बेकिंग के लिए इस्तेमाल कर सकती हैं, जैसे कि केक, पैन केक, मफिन, कुकीज आदि को बनाने में।
अब पके हुए बार्ली को नियमित सलाद में ऐड कर सकते हैं।
चावल और क्विनोआ की जगह हफ्ते में 2 बार बार्ली लें।