उल्लंघन करने पर कार्रवाई – पटाखों के इस्तेमाल को लेकर राजस्थान सरकार ने तय की गाइड लाइन
जयपुर। राजस्थान सरकार ने इस दीपावली, क्रिसमस और नए साल जैसे त्योहारों पर पटाखों के इस्तेमाल को सीमित करने के लिए नए दिशा-निर्देश जारी कर दिए हैं। सरकार के निर्देशों में कहा गया है कि लोग दीपावली पर रात 8 बजे से 10 बजे तक ही पटाखे जला सकेंगे। वहीं, एनसीआर क्षेत्र के जिलों, जैसे अलवर और भरतपुर में भी इसका पालन करना अनिवार्य होगा। क्रिसमस और नए साल को भी रात में आधे घंटे यानी रात 11:55 बजे से 12:30 बजे तक पटाखे जलाने की इजाजत दी गई है, ताकि पर्यावरण और वायु गुणवत्ता को नुकसान से बचाया जा सके।
पर्यावरण और जलवायु परिवर्तन विभाग ने साइलेंस जोन जैसे अस्पताल, नर्सिंग होम, स्कूल, कॉलेज, कोर्ट और धार्मिक स्थलों से 100 मीटर की दूरी पर पटाखे जलाने पर पूरी तरह से बैन कर दिया है। इससे इन क्षेत्रों में शांतिपूर्ण वातावरण बना रहेगा और वहां मौजूद लोगों को असुविधा नहीं होगी।
सरकार ने ग्रीन पटाखों के इस्तेमाल को बढ़ावा दिया है, क्योंकि ग्रीन पटाखों से कम प्रदूषण होता है और ये वायु गुणवत्ता पर ज्यादा असर नहीं डालते हैं। राज्य सरकार ने शादी-विवाह और अन्य समारोहों में भी केवल ग्रीन पटाखों के इस्तेमाल की इजाजत दी है। सरकार वायु प्रदूषण को नियंत्रित करने और पर्यावरण की रक्षा करने का प्रयास कर रही है। सरकार ने सभी जिला प्रशासन को निर्देश दिया है कि वे प्रतिबंधित पटाखों की बिक्री पर कड़ी निगरानी रखें। किसी भी बाजार में प्रतिबंधित पटाखों की बिक्री की इजाजत नहीं होगी और नियम का उल्लंघन करने पर कार्रवाई की जाएगी। राज्य के सभी थानों के इंचार्ज को निर्देशित किया गया है कि वे स्कूलों और कॉलेजों में जाकर बच्चों को पटाखों के नुकसान और सुरक्षित उपयोग के प्रति जागरूक करें। इस उद्देश्य से विशेष कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे, ताकि बच्चे दीपावली का उत्सव सुरक्षित और जिम्मेदार तरीके से मना सकें। राजस्थान सरकार का यह कदम पर्यावरण और जन स्वास्थ्य की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए उठाया गया है, जिससे प्रदूषण के खतरे को कम किया जा सके।
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