भोपाल । सपा सांसद रामजी लाल सुमन द्वारा राजपूत योद्धा राणा सांगा पर की गई टिप्पणी (Comment) पर बवाल मचा है। करणी सेनाने रविवार को समाजवादी पार्टी के मध्य प्रदेश कार्यालय के बाहर विरोध प्रदर्शन किया। साथ ही सपा सांसद का चेहरा काला करने और उन्हें जूते से मारने वाले को 5 लाख रुपए का इनाम देने की भी घोषणा की। वहीं, सपा की राज्य इकाई ने आरोप लगाया कि प्रदर्शनकारियों ने कार्यालय के बाहर पार्टी के बैनर और पोस्टर क्षतिग्रस्त कर दिए। सपा का कार्यालय भोपाल के तुलसी नगर इलाके में एक सरकारी क्वार्टर में स्थित है।
टीटी नगर थाना प्रभारी सुधीर अरजरिया ने बताया कि करणी सेना के सदस्यों ने एसपी कार्यालय के बाहर विरोध प्रदर्शन के दौरान एक पुतला भी जलाया। समाजवादी पार्टी द्वारा बैनर और पोस्टर को नुकसान पहुंचाने के आरोपों के बारे में पूछे जाने पर अरजरिया ने कहा कि ऐसी कोई घटना नहीं हुई। उन्होंने कहा कि कोई मामला दर्ज नहीं किया गया है, क्योंकि यह एक छोटा विरोध प्रदर्शन था।
सपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता यश भारतीय ने बताया कि प्रदर्शनकारियों ने शाम करीब 7:15 बजे पार्टी कार्यालय पर हमला किया। उन्होंने दावा किया कि यह हमला सत्तारूढ़ भाजपा की ओर से किया गया और यह राज्य सरकार की विफलता को दर्शाता है। भारतीय ने कहा कि प्रदर्शनकारियों के आने से पहले पुलिस वहां मौजूद थी, जिससे साबित होता है कि उन्हें प्रदर्शन की पहले से जानकारी थी।
उन्होंने एक वीडियो भी साझा किया जिसमें एक कथित प्रदर्शनकारी एसपी कार्यालय के बाहर लगे बैनर को हटाता हुआ दिखाई दे रहा है। उन्होंने कहा कि यह सत्ता का अहंकार है और इस मुद्दे पर विधानसभा में चर्चा होनी चाहिए। प्रदर्शन के दौरान करणी सेना के सदस्यों ने सपा प्रमुख अखिलेश यादव के खिलाफ नारे लगाए। करणी सेना ने राजपूत योद्धा के खिलाफ अभद्र टिप्पणी करने के लिए सुमन को दंडित करने की कसम भी खाई है। करणी सेना ने कहा कि राणा सांगा ने अपने जीवन में कभी हार का सामना नहीं किया।
संगठन के राज्य प्रमुख शिव प्रताप सिंह चौहान ने कहा कि मुगलों से लड़ते रहे सांगा के शरीर पर 83 चोटें आईं और उनकी एक आंख, एक पैर और एक हाथ चला गया। उन्होंने कहा, “मैं राजपूत समुदाय के युवाओं से आग्रह करता हूं कि वे सुमन का मुंह काला करें और जहां भी वह मिले, उसे जूतों से मारें। ऐसे व्यक्ति को 5 लाख रुपए का इनाम दिया जाएगा। राणा सांगा उर्फ संग्राम सिंह प्रथम 1508 से 1528 तक मेवाड़ के शासक थे।
समाजवादी पार्टी के नेता सुमन ने 21 मार्च को राज्यसभा में राणा सांगा को “देशद्रोही” कहकर और हिंदू को उनके वंशज बताकर विवाद खड़ा कर दिया था। सुमन ने ‘बाबर की औलाद’ शब्द का जिक्र करते हुए कहा कि भारत में मुसलमान मुगल बादशाह को नहीं मानते। उन्होंने कहा कि वे मोहम्मद साहब और सूफी संतों की परंपराओं को अपना आदर्श मानते हैं। यह दावा करते हुए कि राणा सांगा ने इब्राहिम लोदी को हराने के लिए बाबर को बुलाया था, सुमन ने कहा कि अगर मुसलमान ‘बाबर की औलाद’ हैं, तो आप देशद्रोही राणा सांगा के वंशज हैं।
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