इंदौर। नगर निगम के साथ-साथ पंचायत क्षेत्र की अवैध कॉलोनियोंको भी वैध करने की प्रक्रिया भी इन दिनों चल रही है। निगम के कॉलोनी सेल ने अभी 81 कॉलोनियों की सूची जारी करते हुए विकास शुल्क जमा करवाने की प्रक्रिया प्रारंभ की। वहीं ऐसी 19 और कॉलोनी की सूची आज-कल में जारी हो जाएगी। नतीजतन पहली खेप में 100 अवैध कॉलोनियों को वैध किया जाएगा और इसके लिए मुख्यमंत्री ) से समय भी मांगा जा रहा है। दूसरी तरफ 47 कॉलोनियां नजूल और सीलिंग प्रभावित जमीनों के चक्कर में उलझी है, जिसमें तुलसी नगर, गुलाब बाग जैसी चर्चित कॉलोनियां भी शामिल है।
जनसुनवाई में विधायक महेन्द्र हार्डिया के साथ यहां के रहवासियों ने कलेक्टर से मुलाकात की, जिस पर कलेक्टर ने विवादित जमीन को अलग कर एनओसी भिजवाने का आश्वासन भी दिया। निगम सीमा में वैसे तो 600 से अधिक अवैध कॉलोनियां हैं। मगर इनमें से अधिकांश ग्रीन बेल्ट, प्राधिकरण, हाउसिंग बोर्ड की योजनाओं के अलावा नजूल, सीलिंग, नदी, नाले, तालाब के चक्कर में वैध नहीं की जा सकती। अभी पहली खेप में 100 अवैध कॉलोनियों को वैध किया जा रहा है और मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान को बुलाने की मंशा महापौर की है, ताकि उनके हाथों इन कॉलोनियों को वैध करने की प्रक्रिया करते हुए इनके हजारों रहवासियों को सौगात दी जा सके। इनमें से 81 कॉलोनियों में विकास शुल्क की राशि का निर्धारण भी हो गया है और शेष 19 की प्रक्रिया भी एक-दो दिन में पूरी हो जाएगी। वहीं कल कलेक्टर डॉ. इलैयाराजा टी ने विधायक के साथ पहुंचे रहवासियों को आश्वस्त किया कि जो विवादित यानी सीलिंग, नजूल प्रभावित जमीनें हैं उनको अलग कर शेष जमीनों के लिए एनओसी जल्द ही निगम को भिजवा दी जाएगी। दूसरी तरफ राजस्व रिकॉर्ड की बात करें तो लगभग 90 प्रतिशत कॉलोनी की जमीन शहरी सीलिंग प्रभावित हो गई है। दरअसल पिछले दिनों प्रशासन ने ही धारा 20 की छूट प्राप्त सीलिंग जमीनों के दुरुपयोग वाली गृह निर्माण संस्थाओं की जमीनों को सरकारी घोषित करने की प्रक्रिया शुरू की थी।