खंडवा/भोपाल
खंडवा कलेक्टर द्वारा जनसंपर्क अधिकारी को असंवैधानिक तरीके से ट्रांसफर करने के मामले ने तूल पकड़ लिया है। सरकारी किरकिरी उड़ी तो कलेक्टर के बचाव में इंदौर कमिश्नर डॉ. पवन शर्मा उतर आए। उन्होंने रविवार को छुट्टी के दिन देर रात पीआरओ बृजेंद्र शर्मा को सस्पेंड कर दिया। वजह बताई गई कि वह मंत्री के दौरों का कवरेज नहीं करते थे। इधर, प्रदेश जनसंपर्क अधिकारी संगठन भी विरोध में उतर आया है। संगठन का कहना है कि सरकार आईएएस को प्रोटेक्ट कर रही है। इस कारण सोमवार से सभी जनसंपर्क अधिकारी कलमबंद हड़ताल पर जाने का विचार कर रहे हैँ।
निलंबन आदेश इंदौर कमिश्नर डॉ. पवन शर्मा ने खंडवा कलेक्टर के प्रतिवेदन को आधार मानते हुए जारी किए हैं। बताया कि उन्हें 23 मई यानी रविवार को ही कलेक्टर का प्रतिवेदन मिला। इसके अनुसार जनसंपर्क अधिकारी बृजेंद्र शर्मा को कार्यप्रणाली में सुधार लाने के लिए कलेक्टर ने कई बार अवगत कराया। कोविड-19 के दौरान वे मीडिया कर्मियों से समन्वय बनाना तो दूर उन तक सही जानकारी उपलब्ध नहीं करा पाए। खासकर मंत्री के कार्यक्रमों का कवरेज भी नहीं कर पाए। ऐसे कार्यक्रमों में वे लगातार अनुपस्थित रहे हैं, जिससे शासन की छवि धूमिल हुई है, इसलिए बृजेंद्र शर्मा को निलंबित किया जाता है।
सोमवार से हड़ताल पर रहेंगे सभी जनसंपर्क अधिकारी
जनसंपर्क अधिकारी संगठन के प्रदेश उपाध्यक्ष पंकज मित्तल का कहना है, कोरोना काल में जनसंपर्क विभाग के अफसरों ने सरकार के कार्यों को मीडिया तक पहुंचाया है। हमारे अफसर संक्रमित भी हुए। कई की मौत हुई। कलेक्टर असंवैधानिक तरीके से जनसंपर्क अधिकारी का ट्रांसफर कर उन्हें रिलीव करता है। सरकार ऐसे IAS अफसर को प्रोटेक्ट कर रही है। यह दमन के ऊपर और दमन है। संगठन इसकी निंदा करता है।
इंदौर कमिश्नर ने जारी किया निलंबन आदेश।