सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों के निजीकरण के सरकार के प्रयासों एवं संसद के जारी शीतकालीन सत्र में सूचीबद्ध बैकिंग क़ानून (संशोधन ) बिल 2021 के विरोध में की जा रही अखिल भारतीय बैंक हड़ताल के दूसरे दिन आज शहर में अनेक स्थानों पर विरोध प्रदर्शन किया गया। शहर में बैकों का कामकाज पूरी तरह ठप्प रहा। इंडीयन बैंक एवं यूको बैंक के अधिकारियों , कर्मचारियों ने ज़ंजीरवाला चौराहा स्थित इंडीयन बैंक की शाखा के समक्ष ज़ोरदार प्रदर्शन कर सरकार को बैकों के निजीकरण के प्रयासों के विरूद्ध चेतावनी दी।
सभा को विभिन्न केंद्रीय श्रम संगठनों , संयुक्त किसान मोर्चा के प्रतिनिधियों रामस्वरूप मंत्री, किसान मोर्चा; श्याम सुंदर यादव, गोपाल शर्मा, इंटक; श्री रुद्रपाल यादव, एटक; छोटेलाल सर्रावत एवं भागीरथ कछवाय, सीटू; के के मरोत्कर, पोस्ट एंड टेलीग्राफ के साथ ही यूनाईटेड फ़ोरम ओफ़ बैंक यूनियंस के प्रतिनिधियों अरविंद पोरवाल , सतीश जैन , आर के छाबरा, जगदीश चौहान, विरेंद्र सिहाग, राजेश जैन, अशोक गोलाने आदि ने सम्बोधित किया । वक्ताओं ने बैंक निजीकरण को देश की आम जनता , लघु एवं मध्यम उध्योगों , व्यापारियों , किसानों , स्वरोजगारियों के हितों के विरूद्ध बताते हुए इसे एक प्रतिगामी कदम बताया एवं चेतावनी दी कि राष्ट्रीयकृत बैंक़ें अर्थव्यवस्था की रीढ़ और आम जनता की आवश्यकता है और इनके निजीकरण के प्रयास देश के लिए आत्मघाती होंगें। अगर सरकार अपनी ज़िद पर अड़ी रहती है तो आंदोलन को और सघन किया जाएगा जिसमें अनिश्चितक़ालीन हड़ताल का आवाहन भी शामिल है। प्रदर्शन में शोम्पा मित्र, पवन कुमार, इशान, लाव्नीश, मंगलसिंह मंडलोई, साधना मोदी, अमित, ज्योति गुप्ता आदि ने नारे लगवाए।
अरविंद पोरवाल ,
सचिव ,
एम पी बैंक आफ़िसर्स एसोसिएशन