उज्जैन/इंदौर
इंदौर, उज्जैन में सरकारी दुग्ध संघ ने दूध के भाव बढ़ाने पर कानूनी मामला आ गया है। जबलपुर के सामाजिक कार्यकर्ता ने वकील के माध्यम से दोनों कलेक्टरों को नोटिस भिजवा दिया है। वकील का तर्क है कि खेरची विक्रेताओं ने मिलकर ऐसा सामूहिक फैसला नहीं ले सकते। इंदौर के दुग्ध विक्रेता संघ के अध्यक्ष भरत मथुरावाला और उज्जैन के मोहन बांसवाड़े उज्जैन को भी नोटिस भिजवाया है।
खेरची दूध विक्रेता संघ ने हाल ही में 2 रुपए प्रति लीटर दूध के भाव बढ़ा दिए थे। इसी बात पर लीगल नोटिस जारी किया गया है। यह भी बताया है कि रेट नहीं घटाए जाने पर वे हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटा कर सकते हैं। जबलपुर में वे ऐसा कर भी चुके हैं।
पिछले दिनों इंदौर और उज्जैन के दूध विक्रेता संघ ने दूध के रेट बढ़ाने की सामूहिक घोषणा की थी। इसके बाद उज्जैन खेरची दूध विक्रेता संघ उज्जैन की बैठक में 2 रुपए प्रति लीटर मूल्य वृद्धि कर दूध के भाव 1 सितंबर से लागू कर 56 रुपए प्रति लीटर कर दिया है। दूध में की गई मूल्यवृद्धि के बाद नागरिक उपभोक्ता मार्गदर्शक मंच जबलपुर के डॉ. पीजी नाजपांडे और रजत भार्गव ने इंदौर दूध विक्रेता संघ तथा उज्जैन खेरची दूध विक्रेता संघ को अधिवक्ता दिनेश उपाध्याय के माध्यम से 6 सितंबर को लीगल नोटिस भेजा है। यह नोटिस इंदौर व उज्जैन कलेक्टर को दिया है।

लीगल नोटिस
दूध के रेट बढ़ाना गैरकानूनी
नागरिक उपभोक्ता मार्गदर्शक मंच जबलपुर के अध्यक्ष डॉ. पीजी नाजपांडे ने बताया कि पूर्व में उनके द्वारा दायर याचिका में यह आपत्ति जताई गई थी कि जबलपुर दूध विक्रेता संघ ने सामूहिक रूप से दूध के रेट की घोषणा की है, जो गैरकानूनी है। हाई कोर्ट ने इस दलील को स्वीकार किया इसके बाद जबलपुर दूध विक्रेता संघ ने दूध मूल्य घोषणा निरस्त की तथा विज्ञापन जारी किया कि प्रत्येक दूध उत्पादक दूध का मूल्य निर्धारित करने के लिए स्वतंत्र रहेगा। अब संघ द्वारा दूध मूल्य निर्धारित नहीं किया जाएगा। इसके बाद वर्ष 2009 में सामूहिक रेट की घोषणा की गई थी। इस मामले में भी हाईकोर्ट में अवमानना याचिका दायर की गई थी जिस पर नोटिस भेजकर जवाब मांगा गया है। याचिका अभी लंबित है।
हाल ही में उज्जैन व इंदौर में दूध के रेट बढ़ाने पर उज्जैन और इंदौर कलेक्टर को इस मामले में तत्काल कार्रवाई करना चाहिए। दूध विक्रेता संघ की सामूहिक घोषणाओं को निरस्त करना चाहिए। नोटिस में कहा है कि अन्यथा पुनः हाई कोर्ट में याचिका दायर की जाएगी।
इधर खेरची दूध विक्रेता संघ के पास नोटिस नहीं पहुंचा
उज्जैन खेरची दूध विक्रेता संघ के अध्यक्ष मोहन वासवानी ने चर्चा के दौरान बताया कि उनके पास अभी कोई नोटिस नहीं पहुंचा है। रही बात दूध के भाव बढ़ाने की तो दूध के भाव सरकारी डेरी के दूध के भाव बढ़ने के बाद ही हमने दूध के भाव बढ़ाए हैं। किसान हित में 2 रुपए भाव बढ़ाया है। इस बार बारिश अधिक होने से हरा चारा खराब हुआ है। इसके कारण दूध उत्पादन भी कम हो गया है। किसान भी परेशान है।