एस पी मित्तल, अजमेर
20 दिसंबर को राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा का राजस्थान में अंतिम दिन रहा। यह यात्रा 21 दिसंबर को हरियाणा में प्रवेश कर 24 दिसंबर को दिल्ली पहुंचेगी। दिल्ली में 9 दिन का ब्रेक होने के बाद राहुल की यात्रा 3 जनवरी को दिल्ली से ही शुरू होगी। राजस्थान में यात्रा के समाप्त होने से एक दिन पहले 19 दिसंबर की रात को अलवर के सर्किट हाउस में राहुल गांधी ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट के साथ लंबी बात की। यह बैठक गहलोत और पायलट में चल रही प्रतिद्वंदिता को समाप्त करने के लिए थी। जानकार सूत्रों के अनुसार इस बैठक में सीएम गहलोत को हिदायत दी गई कि सचिन पायलट को साथ लेकर चला जाए। बैठक में राहुल गांधी का यह मानना रहा कि अगले विधानसभा चुनाव में पायलट के सहयोग के बिना कांग्रेस सरकार रिपीट नहीं होगी। राहुल की ओर से कहा गया कि कांग्रेस सरकार और संगठन में पायलट की पूरी भागीदारी होनी चाहिए। सूत्रों के अनुसार यात्रा के अंतिम मौके पर राहुल गांधी ने अपनी भावनाओं और निष्कर्ष से गहलोत को अवगत करा दिया है7 लेकिन राहुल की हिदायत पर अशोक गहलोत कितना अमल करते हैं, यह तो आने वाले दिनों में पता चलेगा, क्योंकि गत 25 सितंबर को भी अशोक गहलोत कांग्रेस हाईकमान के निर्देशों की अवहेलना कर चुके हैं। 25 सितंबर को जब हाईकमान ने दो पर्यवेक्षक भेजकर जयपुर में विधायक दल की बैठक बुलाई थी, तब गहलोत ने इस बैठक को होने नहीं दिया। इतना ही नहीं गहलोत को ही मुख्यमंत्री बनाए रखने के लिए कांग्रेस के 91 विधायकों के इस्तीफे भी दिलवा दिए गए। इतनी बगावत के बाद भी गहलोत ने सचिन पायलट को भाजपा से पैसे लेने वाला गद्दार बताया। जानकारों के अनुसार राहुल ने यात्रा के 15 दिनों के प्रवास में राजस्थान की राजनीति को अच्छी तरह समझ लिया है। अपनी समझ के अनुरूप ही राहुल गांधी ने 19 दिसंबर को गहलोत को हिदायत दी। हो सकता है कि मुख्यमंत्री पद को लेकर कोई बदलाव न हो, लेकिन आने वाले दिनों में सत्ता और संगठन में पायलट की भूमिका देखने को मिलेगी। अब सत्ता और संगठन में अकेले अशोक गहलोत का चेहरा देखने को नहीं मिलेगा। राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा में पायलट शांति और धैर्यवान नजर आए हैं। इसका भी राहुल गांधी पर असर नजर आया है। सूत्रों के 19 दिसंबर की अलवर बैठक में पायलट बहुत कम बोले, क्योंकि उनका पक्ष राहुल गांधी स्वयं रख रहे थे।
सोशल सिक्योरिटी स्कीम:
भारत जोड़ो यात्रा के अंतिम दिन 20 दिसंबर को मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अलवर में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित किया। गहलोत ने कहा कि यात्रा के दौरान राहुल गांधी ने ओला, उबर, अमेजन, जमेटो जैसी एप बेस कंपनियों में काम करने वाले डिलीवरी बॉय की समस्याओं को लेकर चिंता जताई। मेरी सरकार ने ऐसे ट्रांसपोर्ट वर्कर की समस्याओं को गंभीरता से लिया है। राजस्थान में जल्द ही ऐसे वर्कर्स के लिए सोशल सिक्योरिटी स्कीम लागू होगी। गहलोत ने माना कि ऐप बेस कंपनियां अपने वर्कर के साथ शोषण करती है। उन्होंने कहा कि ऐसे डिलेवरी बॉय पिछड़े वर्ग के होते हैं। हम ऐसे वर्कर को एक निश्चित राशि देने का भी प्रयास करेंगे। गहलोत ने कहा कि राहुल गांधी की यात्रा राजस्थान के लिए वरदान साबित हुई है। हमें इस यात्रा से बहुत कुछ सीखने को मिला है। गहलोत ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भी भारत जोड़ो यात्रा का फीडबैक लेना चाहिए।