एस पी मित्तल, अजमेर
कोरोना काल के बाद भवन निर्माण के क्षेत्र में अभी तक मंदी का दौर चल रहा हो, लेकिन राजस्थान सरकार के उपक्रम राजस्थान आवासन मंडल ने अपनी पुरानी संपत्तियों को बेचने का रिकॉर्ड बना लिया है। यही वजह है कि वित्तीय वर्ष 2022-23 के पहले दो माह में ही 112 करोड़ रुपए का राजस्व अर्जित कर लिया गया है। असल में संपत्तियों को बेचने के लिए जो मार्केटिंग नीति अपनाई उसी का परिणाम है कि पिछले दो वर्ष में 3 हजार करोड़ रुपए से भी ज्यादा की संपत्तियां बेची गई है। दो वर्ष पहले आईएएस पवन अरोड़ा ने मंडल के आयुक्त का पद संभाला था। अब राज्य सरकार का यह उपक्रम बंद होने की कगार पर था। लेकिन अरोड़ा ने सरकार के इस संस्थान को न केवल पुनर्जीवित किया बल्कि मंडल की संपत्तियों की ओर आम लोगों का भरोसा और विश्वास भी जगाया। अरोड़ा का कहना है कि पूर्व में लोगों के मन में यह धारणा बन गई थी कि आवासन मंडल के मकान घटिया होते हैं तथा लोकेशन भी उपयुक्त नहीं। हमने पिछले दो वर्षों में इस धारणा को तोड़ा है। हमने पारदर्शी तरीके से पुरानी संपत्तियों की ई- नीलामी की और लोगों को यह भरोसा दिलाया कि मंडल के मकान और दुकान मजबूत बने हुए हैं। संपत्तियों को बेचने के प्रति लोगों का आकर्षण पैदा करने के लिए ही प्रत्येक बुधवार को बड़े स्तर पर ई-नीलामी की योजना बनाई गई जो पूरी तरह सफल रही। असल में लोग बुधवार को शुभ दिन मानते हैं इसलिए बुधवार के दिन मकान, दुकान खरीदने के लिए उत्सुक रहते हैं। अरोड़ा ने बताया कि पुराने विवादों को निपटाने में राज्य सरकार का पूरा सहयोग मिला, यही वजह रही कि हम कोरोना काल में भी आवासन मंडल की संपत्तियों को बेच सके। आज आवास मंडल बहुत मजबूत स्थिति में खड़ा है। सरकार ने मंडल की कार्यशैली को देखते हुए ही अतिरिक्त काम भी दिए हैं। इसके अंतर्गत जयपुर में विधानसभा भवन के सामने ही प्रदेश के 200 विधायकों के लिए पांच बीएचके वाले फ्लैट बनाए जा रहे हैं। अरोड़ा ने बताया कि पिछले दो माह में जो संपत्तियां बेची गई उनमें जयपुर वृत्त प्रथम, द्वितीय और तृतीय में 258 आवासों का बेचान कर 41 करोड़ रुपए का राजस्व अर्जित किया गया है। जोधपुर वृत्त में भी इस वित्तीय वर्ष में बिकी 358 सम्पत्तियों से 41 करोड़ 62 लाख रुपए का राजस्व प्राप्त किया। आवासन आयुक्त ने बताया कि ईऑक्शन और ईबिड इस मिशन के तहत इस वित्तीय वर्ष में जोधपुर प्रथम एवं द्वितीय वृत्त में कुल 358 सम्पत्तियां बिक्री, जिससे मंडल को 41 करोड़ 62 लाख रुपए राजस्व मिला। उन्होंने बताया कि कोटा वृत्त में 26 सम्पत्तियां बिक्री जिससे मंडल को 2 करोड़ 22 लाख रुपए का राजस्व मिला, बीकानेर वृत्त में 116 सम्पत्तियां बिक्री जिससे 12 करोड़ 97 लाख रुपए का राजस्व मिला, उदयपुर वृत्त में 77 सम्पत्तियां बिकी, जिससे 11 करोड़ 87 लाख रुपए का राजस्व मिला और अलवर वृत्त में 12 सम्पत्तियां बिक्री जिससे मंडल को 2 करोड़ 58 लाख रुपए का राजस्व मिला। अरोड़ा ने बताया कि अपनी अधिशेष संपत्तियों को बेचने के लिए शुरू किए गए नीलामी उत्सव योजना के लगातार सार्थक परिणाम आ रहे हैं। विगत 3 वर्षों में मंडल ने अब तक कुल 12146 आवासीय और 2291 व्यावसायिक संपत्तियों का विक्रय कर कुल 3 हजार 120 करोड़ रुपये का राजस्व प्राप्त किया है जो कि अपने आप में एक कीर्तिमान है। अरोड़ा ने बताया कि राजस्थान आवासन मंडल की विभिन्न योजनाओं की जानकारी वेबसाइट www.urban.rajasthan.gov.in पर ली जा सकती है। इसके साथ ही मोबाइल नंबर 9461054291 व 9983131666 पर भी ली जा सकती है।