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गहलोत साहब! तय कीजिए कैसे सुरक्षित होंगी राजस्थान की बहू-बेटियां

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जयपुर: राजस्थान की राजनीति में इस वक्त रेप की राजनीति हो रही है। बीजेपी ने कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा को ट्रेन का टिकट भेजने की बात कह रही है तो जवाब में मुख्यमंत्र अशोक गहलोत ने गृहमंत्री अमित शाह को चार्टर प्लेन भेजकर राजस्थान बुलाने और क्राइम कंट्रोल के लिए मौजूदा सरकार की ओर से किए जा रहे इनोवेशन दिखाने की बात की है। रेप पर राजनीति सही है या गलत यह बहस राजनीतिक दलों पर छोड़ देना चाहिए। लेकिन रेप एक ऐसा मुद्दा है जो किसी भी सभ्य समाज के लिए शर्मनाक होता है। यह एक ऐसा मुद्दा है जो सीधे-सीधे किसी भी समाज में महिला सुरक्षा और सम्मान से जुड़ा है। आइए राजस्थान में हाल के महीनों में हुई रेप की उन घटनाओं पर एक नजर डालते हैं जो काफी सुर्खियां बनी।

कांग्रेस विधायक के बेटे पर रेप का आरोप: राजस्थान में सत्तारूढ़ कांग्रेस के विधायक जौहरी लाल मीणा के बेटे दीपक मीणा पर रेप के आरोप लगे हैं। अलवर जिले के राजगढ़ सीट से विधायक जौहरी लाल मीणा के बेटे दीपक मीणा सहित तीन दोस्तों के खिलाफ गैंग रेप का मुकदमा दर्ज हुआ है। आरोप है कि 10वीं में पढ़ने वाली एक छात्रा को जिले के रैणी इलाके से अगवा किया था। इसके बाद मंडावर थाना क्षेत्र के महुआ-मंडावर रोड स्थित समलेटी पैलेस होटल लेकर आये थे। यहां 24 फरवरी को नाबालिग के साथ गैंगरेप की वारदात को अंजाम दिया। आरोप है कि तीनों आरोपियों ने कई बार पीड़िता को इस होटल में लेकर आए और बार-बार गैंग रेप की वारदातों को अंजाम दिया। इतना ही नहीं विधायक पुत्र सहित तीनों आरोपियों ने पीड़िता की नग्न अवस्था में वीडियो भी बनाई। इस पूरे मामले में मंडावर थाने में पोक्सो एक्ट की विभिन्न धाराओं के तहत विधायक पुत्र दीपक मीणा, विवेक शर्मा निवासी थुमडा और नेतराम समलेटी के खिलाफ मुकदमा दर्ज हुआ है इस पूरे मामले की जांच महवा डीएसपी कर रहे हैं।
चूरू में चार लोगों ने मिलकर किया गैंगरेप: इसी साल फरवरी में चूरू जिले में गैंगरेप का सनसनीखेज मामला सामने आया। दिल्ली की रहने वाली 25 साल की युवती के चार युवकों ने दरिंदगी के साथ गैंगरेप की वारदात को अंजाम दिया। गैंगरेप के बाद युवती को रस्सी से बांधकर मकान की दूसरी मंजिल की खिड़की से बाहर फेंक दिया। गनीमत रही कि रस्सी बिजली के पोल में उलझ कर अटक गई। करीब 2 घंटे तक युवती बिजली के पोल से लटकी रही। इस संबंध में महिला थाना पुलिस ने चूरू के इंद्रपुरा निवासी विक्रम सिंह, भवानी सिंह ,देवेंद्र सिंह और चैनपुरा के सुनील के खिलाफ आईपीसी की संगीन धाराओं में मामला दर्ज किया है। पीड़िता असम की रहने वाली है। वर्तमान में वह दिल्ली में रहती है। उसका परिवार असम में ही रहता है। पीड़िता दिल्ली में छोटा-मोटा काम कर अपना गुजर-बसर कर रही थी।

अलवर में निर्भया जैसी दरिंदगी: दिल्ली के निर्भया कांड की तरह एक 15 साल की मंदबुद्धि लड़की के साथ रेप और दरिंदगी हुई है। अज्ञात बदमाशों ने पीड़िता के साथ हैवानियत के बाद उसे अलवर शहर की तिजारा पुलिया पर फेंक दिया। वहां बेहोशी की हालत में मिली लड़की की सूचना स्थानीय लोगों ने पुलिस को दी। रेप के बाद उसके प्राइवेट पार्ट्स पर बेरहमी से चोट पहुंचाई गई थीं। गहरे जख्मों के चलते ब्लडिंग नहीं रुकती देख चिकित्सकों ने उसे अलवर से जयपुर रेफर किया है। शिवाजी पार्क थाना इलाके की इस घटना में जिस लड़की से दरिदंगी हुई वह मानसिकतौर पर कमजोर है।

धौलपुर में दलित महिला से गैंगरेप: धौलपुर जिले में दलित महिला के साथ इसी साल मार्च महीने में गैंगरेप का मामला सामने आया। पीड़िता का आरोप है कि अपने पति के साथ खेत से घर लौट रही थी, तभी उसके साथ कुछ लोगों ने रेप किया। पीड़िता की शिकायत के बाद इस संबंध में कंचनपुर थाने में मामला दर्ज किया गया। प्राथमिकी के अनुसार, लालू ठाकुर, धन सिंह ठाकुर, विपिन ठाकुर, मोहित ठाकुर, सचिन ठाकुर और लोकेंद्र सिंह ठाकुर ने मंगलवार को उसे तथा उसके पति को रास्ते में रोका और उनके साथ मारपीट की। पीड़िता ने बताया कि उसके पति को देसी पिस्तौल की बट से मारा गया और वह वहां से भाग गई। इसके बाद, लालू और धन सिंह ने उसे पकड़ लिया और दोनों ने बंदूक का भय दिखाकर उसके साथ बलात्कार किया। घटना के समय उसके बच्चे वहीं रो-बिलख रहे थे। धौलपुर ग्रामीण के वृत्ताधिकारी विजय कुमार सिंह ने बताया कि भारतीय दंड संहिता की संबंधित धाराओं और अनुसूचित जाति, जनजाति (अत्याचार निवारण) कानून के तहत आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है।
टीचर चार साल से कर रहा था रेप: नागौर जिले में यौन शोषण और रेप की पीड़ा झेल चुकी युवती ने चार साल बाद इसी साल मार्च में अपनी चुप्पी तोड़ी। नागौर के पंचोरी पुलिस स्टेशन में मामला दर्ज करवाया गया है। आरोप है कि पीड़ित युवती के साथ 2018 और 2019 में स्कूल के फिजिकल ट्रेनिंग इंस्ट्रक्टर की ओर से कथित तौर पर दो बार रेप किया गया था। पीड़िता के अनुसार जब वह कक्षा 9 और कक्षा 10 में थी, तब उसके साथ फिजिकल ट्रेनिंग इंस्ट्रक्टर ने जबरन गलत कार्य किया। इसके बाद अब जब युवती को पता चला कि उसकी बहन के साथ भी वह व्यक्ति इसी तरह की घिनौनी हरकतें कर रहा है, तो आखिरकार उसने अपनी चुप्पी तोड़ी दी। साथ ही पूरे परिवार को इस संबंध में जानकारी दे दी। इसके बाद पुलिस ने दुष्कर्म का मामला दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी है।

गैंगरेप के बाद नाबालिग की गला रेत कर की हत्या: अजमेर जिले के पीसांगन थाना क्षेत्र में पिछले सप्ताह करनोस ग्राम पंचायत के धुवाड़िया सरहद में सड़क किनारे जंगल में लाश मिली। नाबालिग का शव नग्न अवस्था में मिली, जिसकी गला रेतकर बेरहमी से हत्या कर दी गई। अजमेर के रास-मांगलियावास हाईवे से 100 मीटर अंदर जंगल में देर रात नाबालिग को शव मिला। 17 साल की नाबालिग की युवक ने रेप के बाद चाकू से गला रेतकर हत्या कर दी। हत्या के बाद युवक ने भी सुसाइड का प्रयास किया, लेकिन पुलिस ने UP के हरदोई निवासी 24 साल के युवक को हिरासत में ले लिया है। अजमेर के एसपी विकास सागवान ने बताया कि युवक वारदात के वक्त मौके पर मौजूद था। उसके शरीर पर चाकू से वार के निशान थे, संभवत: वह सुसाइड का प्रयास कर रहा था।

समाज के हर वर्ग में रेप की वारदातें
राजस्थान में रेप की हालिया इन पांच चर्चित मामलों पर गौर करें तो पता चलता है कि राज्य में हर तबके में यह संगीन अपराध हो रहा है। इन पांच वारदातों में शिक्षित समाज से लेकर दलित, और मानसिक रोग से पीड़ित युवती के साथ भी गैंगरेप किया गया है। सबसे ज्यादा चिंता की बात यह है कि स्कूल तक में छात्रा रेप जैसे संगीन वारदात की शिकार हो रही हैं। ये ऐसी घटनाएं हैं जिन्हें देखकर राज्य सरकार शायद ही रेप वारदातों पर पर्दा डालने की गलती करेगी। राज्य की मौजूदा सरकार को रेप जैसे संगीन अपराध को राजनीति के चश्मे से देखने के बजाय सख्ती बरतने पर जोर देने की जरूरत है।
रेप की वारदातों का पर्यटन पर हो सकता है असर
राजस्थान की अच्छी खासी अर्थव्यवस्था पर्यटन के जरिए चलती हैं। रेप और गैंगरेप की वारदातें ऐसे अपराध हैं जो सीधे-सीधे किसी राज्य या क्षेत्र के प्रति अवधारणा बनाने में काफी मददगार होती हैं। पर्यटन के कारोबार को प्रभावित करने में अवधारणा का अहम रोल होता है। अगर पर्यटकों के बीच निगेटिव अवधारणा एक बार बन जाती है तो दोबारा उसे सुधारने में वर्षों का वक्त लग जाता है।

रेप में नंबर वन राज्य के मुख्यमंत्री का क्या है स्टैंड?
राजस्थान विधानसभा में मौजूदा सरकार स्वीकार चुकी है कि राजस्थान रेप के मामलों में देश में नंबर वन है लेकिन मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा है कि राज्य में हो रहे अपराधों में 14.46 प्रतिशत की कमी आई है। 12 मार्च को महिला सुरक्षा संवाद कार्यक्रम में नेशनल क्राइम रिपोर्ट ब्यूरो की ओर से जारी 2019-20 की रिपोर्ट का हवाला देते हुए सीएम गहलोत ने कहा कि देश में 28.03 प्रतिशत अपराध बढ़े हैं। गहलोत ने कहा कि महिला अत्याचारों पर होने वाले अपराधों पर राजस्थान में तेजी से कार्रवाई हो रही है। पिछले तीन साल में पोक्सो एक्ट के तहत 7 दोषियों को फांसी की सजा सुनाई जा चुकी है जबकि 137 दोषियों को उम्र कैद की सजा हुई है।

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि हर पीड़ित व्यक्ति को न्याय मिले, इसी मंशा के साथ राजस्थान सरकार ने हर फरयादी की एफआईआर दर्ज करना अनिवार्य कर दिया है। अगर पुलिस थाने में कोई एफआईआर दर्ज नहीं करते हैं तो सीधे एसपी ऑफिस में एफआईआर दर्ज कराई जा सकती है। गहलोत ने कहा कि इस पहल के बाद एफआईआर दर्ज नहीं करने वाले 13 थाना प्रभारियों के खिलाफ कार्रवाई की गई। महिलाओं के साथ होने वाले अपराधों को रोकने के लिए राजस्थान पुलिस की ओर से सुरक्षा सखी योजना आरम्भ की गई है। 26 मार्च 2021 में प्रारम्भ हुई इस योजना में अब तक प्रदेश की 12 हजार 339 युवतियों को महिला सखी बनाया गया है।

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