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योनि : लैबिया, क्लिटोरिस, मूत्रमार्ग और हाइमेन !

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 डॉ. प्रिया

     _लैबिया/वल्वा और क्लिटोरिस योनि के अहम पार्ट हैं। वल्वा वह यौनांग हैं जो महिला के शरीर से बाहर है, उनकी टांगों के बीच में। कोई भी दो महिलाएं एक जैसी नहीं होती! इसलिए एक का वल्ला दूसरों से अलग दिख सकता है। क्लिटोरिस उत्तेजना और ओर्गाज़्म का मूल आधार है।_

*■लैबिया :*

    लैबिया योनी के मुख का होंठ है जो योनी के रास्ते की रक्षा करता है। दो लैबिया बाहरी और दो अंदर की तरफ होते हैं।

     _जब आप यौन के लिए उत्तेजित होती हैं तो लैबिया गीलापन पैदा करते हैं ताकि आपकी योनी में नमी आ जाए।_

      अंदर और बाहर के लैबिया को लैबिया मिनोरा और लैबिया मेडा भी कहा जाता है।

    अंदर का लैबिया मिनोरा अक्सर बाहरी लैबिया मेडा से बड़ी होती है।

        _हर महिला का लैबिया अलग दिखता है। कुछ का लैबिया बड़ा होता है, कुछ का छोटा। गुप्तांग के बाल बाहरी लैबिया पर बढ़ते हैं।_

     अंदर का लैबिया बाहरी लैबिया के बीच में होता है, और वहां की त्वचा आमतौर पर थोड़ी गहरी रंग की होता है।

*लंबाई और आकार :*

      अंदर के लैबिया की कोई सामान्य लंबाई नहीं होती है। अगर आप मेडिकल किताबों में देखते हैं या इंटरनेट पर इसकी तस्वीर ढूंढते हैं तो आपको गोरी मॉडल, और  छोटे लैबिया वाले लोग मिलेंगे।

    _आप अपनी लैबिया को छोटा बनाने के लिए सर्जरी भी करा सकती हैं। इसका मतलब है कि युवा लड़कियों और महिलाओं को अक्सर इस बारे में पता नहीं होता। लैबिया के कई आकार होते हैं!_

        अधिकतर महिलाओं के अंदर का लैबिया 0 से 6 सेंटीमीटर (0 से 2.3 इंच) तक बाहरी लैबिया के आगे तक बढ़ता हैं। 

     दक्षिणी अफ्रीका के खोइसन और सैन जैसे कुछ जातीय समूहों का भीतरी लैबिया 10 सेंटीमीटर (4 इंच) तक लंबा होता है।

*लैबिया किस लिए होता है?*

     लैबिया यानी योनी के बाहरी और भीतरी होंठ, दोनों बैक्टीरिया, वायरस या कुछ और हानिकारक चीज़ को योनी के अंदर आने से रोकने में मदद करते हैं।

    भीतरी होंठ सेक्स को और सुखद बना सकते हैं। अगर आपका लैबिया नहीं है, तो वह खतना में काट दिया गया है।

*क्लिटोरिस या भगशेफ :*

      क्लिटोरिस सबसे ज़्यादा यौन का आनंद देने वाला यौन अंग है – असल में यह बस इसी लिए होता है!

      _इसकी नोक आपके शरीर के बाहर होती है, लेकिन इसका एक बड़ा हिस्सा अंदर की तरफ छिपा हुआ होता है।_

        इसका बाहरी हिस्सा जहां पर लैबिया मिलते हैं, वहां एक छोटी सी गांठ जैसा हौता है। यह अक्सर मटर के इतना बड़ा होता है, लेकिन यह मटर से भी बड़ा या छोटा हो सकता है।

      _क्लिटोरिस की नोक थोड़ी ढकी हो सकती है। एक महिला के क्लिटोरिस का रंग उसकी त्वचा के रंग पर निर्भर करता है। यह गुलाबी, गहरा लाल, या भूरा हो सकता है।_

   *क्लिटोरिस आपके शरीर के काफ़ी अंदर तक होता है :*

      असल में इसका अधिकांश हिस्सा अंदर ही होता है। 

     एक पुरूष के गुप्तांग की तरह, इसमें एक डंडा और एक सिर होता है, लेकिन एक क्लिटोरिस का डंडा शरीर के अंदर होता है और केवल सिर बाहर की ओर होता है।

*संवेदनशीलता :*

        चूंकि क्लिटोरिस में 8,000 से भी ज़यादा नाड़ियों के छोर होते हैं, यह एक महिला का सबसे संवेदनशील हिस्सा होता है।

      _ख़ासकर अगर आपने इसे पहले कभी नहीं छुआ है, तो यह इतना संवेदनशील महसूस हो सकता है कि आपको दर्द होगा।_

        अगर क्लिटोरिस को आहिस्ते से रगड़ा जाए, झटका दिया जाए या सहलाया जाए, तो यह थोड़ा बड़ा हो जाता है। 

     _इससे अच्छा महसूस होता है। इसके ज़्यादा देर तक छुए जाने पर आप संभोग के चरम को पा सकती हैं।_

       जैसे ही आप अपने क्लिटोरिस को छूने का एहसास महसूस करती हैं, आप आनंद और कष्ट के बीच का अंतर समझ पाती हैं – कई लोगों के लिए इसमें बहुत हल्का फ़र्क होता है। 

क्लिटोरिस का सिर भीतरी लैबिया के ऊपर होता है, जहां योनी के मुख के दोनों होंठ मिलते हैं। यह लगभग तीन से आठ मिलीमीटर तक के एक छोटे गांठ के जैसा होता है।

     _इसकी बनावट पुरूषों के गुप्तांग की तरह होती है, जिसमें एक सिर होता है, जो छूते ही बहुत उत्तेजित हो जाता है।_

*क्लिटोरिस के बारे में हमसे पूछे गए प्रश्न और उनके उत्तर :*

    1.

 क्या यह सामान्य है कि मेरी क्लिटोरिस की नोक इतनी छोटी है?

    ■हां, क्लिटोरिस की नोक 2 मिलीमीटर जितनी छोटी हो सकती है और 4.5 सेंटीमीटर जितनी बड़ी हो सकती है! 

     छोटी नोक बड़े के जैसी ही संवेदनशील होती हैं। याद रखें कि क्लिटोरिस का ज्यादातर हिस्सा आपके शरीर के अंदर होता है – केवल थोड़ी सी नोक ही है जिसे आप देख सकते हैं। 

     कोई भी दो महिलाओं का क्लिटोरिस एक समान नहीं होता है!

2.

 मुझे अपना क्लिटोरिस नहीं मिल रहा है। क्या करूँ?

     ■आपका क्लिटोरिस थोड़ा छिपा हो सकता है। अपनी उंगली को लैबिया तक ले जाएं। आपका क्लिटोरिस आपके लैबिया के ठीक ऊपर होता है। 

     हो सकता है कि आप इसे देख न सकें, लेकिन अगर आप इसे छूती हैं, तो अच्छा महसूस होता है।

अगर आपके क्लिटोरिस की नोक पूरी तरह से गायब है, तो उसे काट कर निकाल दिया गया है।

3. 

क्या मेरा क्लिटोरिस काम करता है?

      कई महिलाओं के लिए, क्लिटोरिस उनके शरीर का सबसे संवेदनशील और यौन के दौरान सबसे ज़्यादा आनंद देने वाला हिस्सा होता है।

       लेकिन कुछ महिलाओं के लिए क्लिटोरिस संवेदनशील या बहुत ज़्यादा संवेदनशील नहीं भी हो सकता है।

      अपने क्लिटोरिस के छूते समय, किसी चिपचिपी चीज़ का इस्तेमाल करें। अपनी उंगली पर वो चीज़ थोड़ी डालें, और धीरे-धीरे क्लिटोरिस के ऊपर उंगली को गोल-गोल घुमाएं। 

      देखें कि इससे कैसा महसूस होता है – क्या यह सुखद है? अगर ऐसा है, तो जैसे ही आप और सहज हो जाएं, उंगली को और दबा कर घुमाएं।

      आपको और भी आनंद आना शुरू हो जाएगा। अगर यह जारी रहता है, तो आखिर में आप संभोग के सुख को महसूस कर सकती हैं।

       अगर आपको लगता है कि ऐसे कोशिश करने के बाद भी आपका क्लिटोरिस संवेदनशील नहीं होता है, तो अपने शरीर के दूसरों हिस्सों को मालिश करके भी उत्तेजित हुआ जा सकता है, जैसे कि आपकी योनी के अंदर, आपके गुदा का किनारा, या आपके निप्पल।

       *Clitoris- मूत्रमार्ग :*

      मूत्रमार्ग वह ट्यूब है जो मूत्राशय से मूत्रमार्ग के मुख – जहां से पेशाब निकलता है – तक जाती है।

_महिलाओं में यह ट्यूब 2.5 से 4 सेंटीमीटर तक लंबी होती है।_

     मूत्रमार्ग का मुख क्लिटोरिस के ठीक नीचे होता है, जहां पर लैबिया उपर की तरफ मिलते हैं।

 *Vaginal opening~ हाइमेन :*

    ज्यादातर महिलाएं एक हाइमेन के साथ पैदा होती हैं – यह त्वचा की एक लचीची परत जैसा होता है जो योनी के मुख को चारो तरफ से या आंशिक रूप से ढ़कता है।

      _हाइमेन अलग-अलग आकार, लंबाई और मोटाई के हो सकते हैं। मोटाई में अंतर का मतलब है कि कुछ महिलाओं का हाइमेन इतना पतला हो सकता है कि सेक्स के दौरान उसके फटने या खून निकलने पता भी नहीं चल पाता है।_

       दूसरी महिलाओं में मोटे हाइमेन हो सकते हैं, और पहली बार संभोग के बाद वे खून का रिसाव देख सकती हैं। मोटा हो या पतला, दोनों ही सामान्य हैं। और कुछ महिलाओं का हाइमेन के बिना पैदा होना भी सामान्य है।

         _हाइमेन अलग-अलग आकार, लंबाई और मोटाई के हो सकते हैं। मोटाई में अंतर का मतलब है कि कुछ महिलाओं का हाइमेन इतना पतला हो सकता है कि सेक्स के दौरान उसके फटने या खून निकलने पता भी नहीं चल पाता है।_

       दूसरी महिलाओं में मोटे हाइमेन हो सकते हैं, और पहली बार संभोग के बाद वे खून का रिसाव देख सकती हैं।

      मोटा हो या पतला, दोनों ही सामान्य हैं। और कुछ महिलाओं का हाइमेन के बिना पैदा होना भी सामान्य है।

 *Hymen- मासिक धर्म का ख़ून :*

      ज्यादातर महिलाओं में मासिक धर्म का ख़ून हाइमेन से रूके बिना योनी के रास्ते आसानी से निकल सकता है। 

लेकिन~

   _कुछ महिलाओं में एक ऐसा हाइमेन होता है जो योनी के मुख को लगभग (माइक्रोप्रोफेरेट हाइमेन) या पूरा ही ढक लेता है (छिद्रहीन हाइमेन) जिससे योनी से गुजरने वाले मासिक धर्म के ख़ून के रास्ते में रूकावट पैदा हो जाती है।_

       इससे मासिक धर्म रक्त योनि में फंस जाता है या आपके पेट के अंदर इकट्ठा हो सकता है जिसके कारण महिलाओं में पेट या पीठ दर्द हो सकता है, और आंत साफ होने में और पेशाब करने में भी दर्द हो सकता है। 

       _एक साधारण ऑपरेशन से हाइमेन को कुछ हिस्सा हटा कर सामान्य आकार का छेद बनाया जा सकता है।_

        इसके अलावा, कुछ महिलाओं में एक ऐसा हाइमेन हो सकता है जो योनी के मुख को दो छोटे छेदों में विभाजित करता है। हालांकि ऐसे हाइमेन से मासिक धर्म के ख़ून को निकलने में कोई परेशानी नहीं आती है, इससे टैम्पन डालने या सेक्स करने में मुश्किल हो सकता है। 

      _इस तरह के हाइमेन को भी एक मामूली ऑपरेशन से हटा कर एक रास्ता बनाया जा सकता है।_

*सेक्स के लिए उत्तेजना :*

     ◆जब आप उत्तेजित हो जाती हैं तो आपके शरीर के साथ क्या होता है?

     ~आपकी योनी गीली हो जाती है। 

~आपका क्लिटोरिस फूलने लगता है और बड़ा होना शुरू होता है।

~आपकी आंखों की पुतलियां बड़ी हो जाती हैं।

~आपके होंठ लाल या गहरे हो जाते हैं।

~आपकी धड़कन तेज हो जाती है।

~आपकी सांस लेने की गति बढ़ जाती है।

 ~सांस की आवाज़ भी आ सकती है।

~आपके निप्पल सख़्त और बड़े हो जाते हैं।

~आपके स्तन भी बड़े हो सकते हैं।

     _जब आप यौन के लिए उत्तेजित हो जाती हैं, तो आपकी योनी गीली हो जाती है, जो इसे चिकनी और मुलायमे बनाती है। ऐसा होना ज़रूरी है क्योंकि यह सेक्स करना आसान बनाता है, और संभोग के वक्त दर्द नहीं होता।_

*मूत्राशय का संक्रमण :*

       महिलाओं के मूत्राशय या मूत्रमार्ग में पुरुषों की तुलना में ज़्यादा आसानी से संक्रमण होता है। 

     _ऐसा इसलिए है क्योंकि एक महिला का मूत्रमार्ग, मूत्राशय से पेशाब निकलने वाले छेद को जोड़ने वाला ट्यूब, पुरुषों की तुलना में छोटा होता है।_     

         महिलाओं में मूत्रमार्ग गुदा और योनी के छेद के करीब होता है, जबकि पुरुषों में गुदा और मूत्रमार्ग के बीच लंबी दूरी होती है। 

      _आम तौर पर, मूत्र या पेशाब में कोई जीवाणु या फंगल संक्रमण नहीं होता है। लेकिन बैक्टीरिया या फंगस मूत्रमार्ग के संपर्क में आकर बढ़ने लगते हैं तो एक संक्रमण हो सकता है।_

 *मूत्राशय संक्रमण से बचने का उपाय :*

    शौच करने के बाद सामने से पीछे की तरफ पोंछे – पहले अपने वलवा को, और फिर अपने गुदा को।

      _ऐसा करने से आपके गुदा का बैक्टीरिया आपके मूत्रमार्ग के अंदर नहीं जाएगा।सेक्स करने के बाद पेशाब करें। यह मूत्रमार्ग को धो डालता है, इसलिए बैक्टीरिया अंदर नहीं जाता है।_

     【किसी भी यौन-विकार का निःशुल्क उपचार सुलभ है।】

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